रायसिंहनगर (हरजीत हैप्पी) बीते वर्ष हुए चुनावों में प्रदेश की सरकार बदलने के साथ साथ रायसिंहनगर विधानसभा सीट में बड़ा बदलाव देखने को मिला। त्रिकोणीय मुक़ाबले में यहाँ की जनता ने कांग्रेस पार्टी के उम्मीदवार सोहनलाल नायक को जीत दिलवा कर विधानसभा भेजने का फ़ैसला किया लेकिन जनता द्वारा स्वयं किया गया यह फ़ैसला अब जनता के ही गले की फ़ाँस बनता जा रहा है। दरअसल दर दर भटकने के बाद हर छोटे बड़े काम के लिए पूर्व विधायक लूथरा का दरवाज़ा खटखटाना पड़ता है, क्योंकि वहाँ पहुँचने के बाद ही फ़रियादी की हर संभव मदद हो पाती है।
ऐसे में दिन प्रतिदिन मौजूदा विधायक से जनता का मोहभंग होता जा रहा है और पूर्व विधायक लूथरा रायसिंहनगर की जनता की एकमात्र और आख़िरी उम्मीद बनते जा रहे हैं। गली मोहल्ले में आमजन के बीच यह चर्चा आम है कि लूथरा की हार ने रायसिंहनगर के विकास पर पाँच साल ग्रहण लगा दिया है, हाल ही में 16 वीं विधानसभा के दूसरे सत्र में विधायकों द्वारा सवाल पूछे जाने की प्रकिर्या में स्थानीय विधायक सोहनलाल अपने विधानसभा क्षेत्र को ले कर मौन नज़र आए हैं, उन्होंने जयपुर में लगने वाले जाम का मुद्दा तो उठाया लेकिन स्वयं की विधानसभा में बिगड़ती जा रही क़ानून और ट्रैफिक व्यवस्था के बारे में बोलना भूल गए। स्थानीय विधायक के अपने क्षेत्र को ले कर इस रूखे रवैये के चलते क्षेत्र की जनता भी ख़ासी नाराज़ नज़र आ रही है।
पूर्व विधायक लूथरा का रहन-सहन और उनके निवास स्थान को देखकर उनकी शालीनता और ईमानदारी का परिचय हो जाता है। जहाँ एक तरफ़ हर समय हर परिस्थिति में लूथरा जी जनता के साथ खड़े नज़र आते हैं वहीं दूसरी ओर चुनाव हुए कुछ माह ही बीते हैं और लोग अक्सर शिकायत करते हैं कि वर्तमान विधायक सोहनलाल नायक फोन नहीं उठाते, आम जनता के बीच किसी के सुख-दुख में भी शामिल होने की खबरें कम ही आती है क्योंकि उनका व्यवहार भी ऐसा है लेकिन पुर्व विधायक लूथरा जी जब विधायक थे तब हाथ में दो फोन रखा करते थे आज भी दो फोन रखते हैं एक फोन से फरियादी की बात सुनते हैं और दूसरे फोन से संबंधित अधिकारी से बात करते हैं और कोशिश करते हैं की समस्या का समाधान हो सके यह सादगी यह रहन-सहन आज भी कोशिश रहती है हर किसी के दुख सुख में शामिल होने की आम जनता में यह चर्चा आम है कि वास्तव में गलती तो हो गई पर क्या करें 5 साल भुगतना तो पड़ेगा।
जीत और हार तो एक ही सिक्के के दो पहलू हैं, ये तो नेताओं के जीवन का अहम हिस्सा है, हार जीत लगी रहती है, आज किसी पद पर हैं कल नहीं, कोई पद स्थायी नहीं होता क्योंकि लोकतांत्रिक व्यवस्था में जनता ही स्थायी शासक होती है, लेकिन हमने तो जिस दिन राजनीतिक जीवन में कदम रखा था उसी दिन से जीवन का एक ही ध्येय रखा है कि जीवनपर्यंत आमजन की सेवा करनी है। हम से जो बन पड़ेगा वह करते रहेंगे!
रायसिंहनगर विधानसभा क्षेत्र के विकास के लिए प्रदेश सरकार से हर संभव मदद लेने की कोशिश करेंगे : पूर्व विधायक लूथरा