चंडीगढ़: पंचकूला, चंडीगढ़ और मोहाली (टाइसिटी) में ट्रैफिक व्यवस्था में सुधार पर हरियाणा, पंजाब और केंद्र शासित प्रदेश चंडीगढ़ ने गुरुवार को मंथन किया। तीनों शहरों में मेट्रो को चलाने के लिए चंडीगढ़ सचिवालय में पंजाब के गवर्नर बीएल पुरोहित की अध्यक्षता में बैठक हुई। इसमें कॉम्प्रिहेंसिव मोबिलिटी प्लान को सैद्धांतिक मंजूरी दी गई है। इसमें सर्वे, खर्च व रूट प्लान समेत अन्य आवश्यक प्रक्रिया शामिल है।

मेट्रो के पहले चरण में चंडीगढ़ हाउसिंग बोर्ड चौक से पंजाब यूनिवर्सिटी, PGI और एयरपोर्ट के लिए वैकल्पिक मार्ग का सुझाव दिया गया। इनके अलावा हरियाणा CM मनोहर लाल खट्‌टर ने मेट्रो के माध्यम से पिंजौर-कालका को चंडीगढ़ से जोड़ने के लिए कहा। उन्होंने मेट्रो के विस्तार में घग्गर नदी और नए पंचकूला के क्षेत्रों को शामिल करने की बात भी कही। साथ ही जीरकपुर को पिंजौर-कालका तक जोड़ने का सुझाव दिया, ताकि चंडीगढ़ आवागमन की बेहतर सुविधा मिल सके।

ये सुझाव भी दिया
उन्होंने हरियाणा सिविल सचिवालय, विधानसभा, पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट, PGI और एयरपोर्ट के मेट्रो से जुड़ने पर ट्रैफिक जाम से बड़ी राहत मिलने की बात कही। CM मनोहर लाल ने मेट्रो के पहले फेज में ही उक्त सभी रूट शामिल करने का सुझाव दिया।

पंजाब सीएम भगवंत मान नहीं पहुंचे
बैठक में हरियाणा सीएम मनोहर लाल के अलावा पंजाब की पर्यटन मंत्री अनमोल गगन मान और चंडीगढ़ के मेयर अनूप गुप्ता पहुंचे। जबकि पंजाब के CM भगवंत मान और चंडीगढ़ की सांसद किरण खेर ने मीटिंग से दूरी बनाए रखी। मीटिंग में हरियाणा CM के प्रधान सचिव डीएस ढेसी, मुख्य सचिव संजीव कौशल, शहरी स्थानीय निकाय विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव अरूण गुप्ता समेत पंजाब के अफसर पहुंचे।

गवर्नर के साथ इस मीटिंग में दोनों प्रदेश सरकारों के प्रमुख सचिव (CS) और अन्य सीनियर अफसर मौजूद रहे। वहीं, चंडीगढ़ पुलिस-प्रशासन द्वारा सुरक्षा के मद्देनजर सचिवालय में पुख्ता सुरक्षा प्रबंध किए गए थे। DSP समेत सिक्योरिटी विंग के इंस्पेक्टरों पर व्यवस्था बनाए रखने का जिम्मा रहा। किसी व्यक्ति को बेवजह सचिवालय के प्रथम तल पर प्रवेश नहीं करने दिया गया।

लंबे समय से विचार किया जा रहा
पंजाब गवर्नर बीएल पुरोहित की अध्यक्षता में हुई इस मीटिंग में राइट्स कंपनी के अधिकारियों ने ट्राईसिटी से जुड़े पूरे प्लान की प्रेजेंटेशन दी। इसके बाद हरियाणा के CM समेत अन्य अधिकारियों ने अपने-अपने सुझाव दिए।

यह है ट्राईसिटी के लिए प्लान
कॉम्प्रिहेंसिव मोबिलिटी प्लान चंडीगढ़ के साथ मोहाली और पंचकूला के लिए फायदेमंद रहेगा। मेट्रो प्रोजेक्ट रूपरेखा पर सहमति देना और रोड मार्ग से तीनों शहरों में यातायात फ्रीक्वेंसी को बेहतर बनाना है। पूरे प्रोजेक्ट पर पंचकूला, मोहाली व चंडीगढ़ का अनुमानित खर्च करीब 10,570 करोड़ रुपए है। मेट्रो पर सबसे अधिक 7680 करोड़ खर्च होंगे। इसमें से मोहाली में 4080, चंडीगढ़ में 2320 और पंचकूला में 1280 करोड़ रुपए खर्च आएगा। यदि बैठक में सहमति बनी तो इस प्लान को अंतिम मुहर के लिए केंद्र सरकार के पास भेजा जाएगा। इसके बाद प्लान पर काम शुरू कर दिया जाएगा।

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